बिल्ली से डरकर भागी बच्ची गर्म दूध में गिरी, इलाज के दौरान मौत

 0
बिल्ली से डरकर भागी बच्ची गर्म दूध में गिरी, इलाज के दौरान मौत
MYCITYDILSE VAAHAN BAZAR
MYCITYDILSE VAAHAN BAZE

बिल्ली से डरकर भागी बच्ची गर्म दूध में गिरी, इलाज के दौरान मौत

डीग जिले के कामां कस्बे में एक दर्दनाक घटना सामने आई, जिसमें 3 साल की मासूम बच्ची सारिका की जान चली गई। सारिका बिल्ली से डरकर भागी और गलती से उबलते हुए दूध के बर्तन में गिर गई, जिससे वह 70 प्रतिशत तक झुलस गई।

कैसे हुआ हादसा?

25 मार्च की रात करीब 8 बजे सारिका अपनी मां हेमलता और भाई सत्यम के साथ छत पर खेल रही थी। छत पर चूल्हे पर दूध गर्म किया जा रहा था। इसी दौरान एक बिल्ली वहां आ गई, जिससे डरकर सारिका घबरा गई और भागने लगी। दुर्भाग्यवश, वह गर्म दूध के बर्तन से टकरा गई और उसमें गिर गई।

इलाज के दौरान तोड़ा दम

परिवार ने तुरंत सारिका को कामां के सरकारी अस्पताल पहुंचाया। हालत गंभीर होने पर उसे भरतपुर के आरबीएम हॉस्पिटल रेफर किया गया और बाद में जयपुर के जेके लोन हॉस्पिटल में भर्ती कराया गया। दो दिनों तक जिंदगी की जंग लड़ने के बाद 27 मार्च की रात मासूम ने दम तोड़ दिया।

पिता शामिल नहीं हो सके अंतिम संस्कार में

सारिका के पिता जितेंद्र सिंह जम्मू में राष्ट्रीय राइफल्स में कॉन्स्टेबल के पद पर तैनात हैं। बेटी की मौत की खबर सुनने के बावजूद वे अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हो सके। दादा हरिनारायण, जो एयरफोर्स में सेवानिवृत्त हैं, ने परिवार के अन्य सदस्यों के साथ मिलकर बेटी का अंतिम संस्कार किया।

दुर्घटनाओं से बचाव के उपाय

  • छोटे बच्चों को छत या रसोई में अकेला न छोड़ें।

  • गर्म दूध या खाना हमेशा सुरक्षित स्थान पर रखें।

  • खेलते समय बच्चों की गतिविधियों पर नजर रखें।

  • बिल्लियों और अन्य पालतू जानवरों को बच्चों के आसपास से दूर रखें।

निष्कर्ष

इस घटना ने पूरे इलाके को झकझोर कर रख दिया है। बच्चों की सुरक्षा के प्रति अधिक सतर्कता बरतना जरूरी है। मासूम सारिका की असमय मौत ने सभी को यह सोचने पर मजबूर कर दिया है कि छोटी-सी लापरवाही भी बड़े हादसे का कारण बन सकती है।

ईश्वर से प्रार्थना है कि सारिका की आत्मा को शांति मिले और परिवार को इस कठिन समय में संबल प्रदान करे।